उत्तर प्रदेश
रात दिन यूँ ही नहीं हो जाते……
##पृथ्वी##
रात दिन यूँ ही नहीं हो जाते
उन्हें होने के लिए पृथ्वी को
रात दिन घूमते रहना होता है!!
मौसमी तब्दीली भी मुमकिन ना होती
अगर पृथ्वी अपने अक्ष पर नम्रता से झुकी ना होती!!
कोई पौधा कहाँ उगता, अगर धरती
अपना सीना चीर कर बीजों को पनाह ना देती..
बारिश भी संभव ना होती
जो गर्मी में तपकर पानी को भाप ना बनाती
इस कायनात में बहुत कुछ होने के लिए
धरती को नम्र होकर रात दिन एक करना होता है…
पूनम भास्कर “पाखी“